Saturday, June 9, 2012

अपने साए को भी खुद से वाकिफ़ नहीं होने देता

अपने साए को भी खुद से वाकिफ़ नहीं होने देता
जहाँ जाता हूँ अकेला ही चला जाता हूँ,
कभी खुद को किसी के सहारे होने नहीं देता।

मुझे परवाह नहीं है किसी के होने या न होने से
मगर मायूस हो जाता है वो बच्चा
जब माँ के लिए पूजा में कोई साथ नहीं होता।

जितना इल्जाम लगाना है लगा लो तुम मुझ पर
"कि तुम रात भर दूसरी लड़कियों से बात करते रहते हो"
अब उसकी ऐसी बातों पर अफ़सोस नहीं होता।

और 

माँ क्या होती हैं यह जाना है मैंने खोकर
खुदा न जाने क्यों ठोकर से पहले आँखें नहीं खोल देता।

#रोमिल

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