माँ मैं तेरा उधार चूका सकता नहीं.
तेरा क़र्ज़ चूका सकता नहीं.
रात में पहरेदारी की
मेरे आने के इंतज़ार में रात भर तू जागती रही.
कभी कुक, कभी शेफ़ और कभी बेकर बनकर
स्वादिष्ट चीज़े मेरे लिए तैयार की.
मुझे साफ़-सुथरा रखा
मेरे नाखूनों को काटा
मेरे कानों, चेहरे की सफाई की.
बुखार में मेरे सर पर गीली पट्टी रखी
बीमारी में मेरी देखभाल की
मेरी घावों की सफाई की.
मेरे प्रेम के घावों को भरा
मेरे होंठों पर मुस्कान दी.
मनोरंजक फिल्मों को दिखाया
त्योहारों में नए कपड़ों - जूतों की सौगाद दी.
मुझे सपने दिए
मुझे आत्मविश्वास दिया
मुझे राहें दिखाई
मेरी अँधेरी राहों में रोशनी की.
माँ मैं तेरा उधार चूका सकता नहीं
तेरा क़र्ज़ चूका सकता नहीं.
#रोमिल
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